नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया ने राज्य सरकार पर उठाए सवाल
Q भाजपा इन दिनों जनाक्रोश यात्रा निकाल रही है। लेकिन गहलोत कह रहे हैं कि जनता खुश है, तो क्या यह सब विपक्ष के नाते एक कार्यक्रम ही कर रहे हैं?
राजस्थान की जनता के पास जाकर कोई पूछे तो पता चलेगा कि इस सरकार से कितनी परेशान हैं। सरकार ने चार बजट पेश कर दिए पर अब तक 25 करोड़ से अधिक की एक भी योजना नहीं है, जो जमीन पर उतरी हो। मुख्यमंत्री का जब अपने मंत्रिमंडल पर नियंत्रण नहीं है तो राज्य में सरकार की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सकता है। यदि सब कुछ प्रशासनिक अधिकारियों के जिम्मे छोड़ा है तो सरकार बनाई ही क्यों? जनता इन बातों को समझ चुकी है और तैयार बैठी है।
Q आपकी पार्टी में अंदरूनी कलह के समाचार आते रहते हैं। अगले साल चुनाव हैं, ऐसे में क्या प्रधानमंत्री के भरोसे ही चुनाव में जाएंगे?
जनता में लोकप्रियता और जनहितकारी नीतियों के कारण प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की-पॉइंट हैं। इसमें संदेह नहीं है। राजस्थान में भैंरोसिंह शेखावत, हरिशंकर भाभड़ा, भंवरलाल शर्मा, ललित किशोर चतुर्वेदी के समय हमने काम किया है। यहां पार्टी का आधार है। जो काम किए हैं वो जनता को आज भी याद है। चरित्र ही हमारी ताकत है। जो कमियां हैं उन पर विचार होता है। जहां बताना होता है वहां बता दिया जाता है और हल भी निकलता है।
Q सरदारशहर उपचुनाव में भाजपा हार गई, इस पर क्या कहेंगे?
जो परिणाम आया है वह स्वीकार है। देखिए अभी जो उपचुनाव हुआ है उसमें जातियों के आधार पर विभाजन हुआ था। वोटों का विभाजन हो गया। भाजपा और आरएलपी ने जो वोट लिए हैं वे कांग्रेस से ज्यादा हैं। ऐसे में सरकार को कोई मैंडेट नहीं है। जातीय आधार पर विभाजन के बारे में हमें विचार करना होगा। इसकके लिए नया मैकेनिज्म हो यह चर्चा होगी।
Q सरकार को कानून व्यवस्था के लिए क्या सुझाव देंगे?
सुझाव तो दे देंगे लेकिन मानेगा कौन। राज्य का बंटाधार कर दिया गया है। यदि मुख्यमंत्री के पास गृहमंत्री के नाते समय नहीं है तो ऐसा सहयोगी बनाएं जो पूरी तरह से विभाग को देखे, थानों को देखे। राजनीतिक आधार पर अन्य विभागों में नियुक्ति हो सकती है लेकिन पुलिस में नहीं। सब अधिकार एमएलए को दे दिए, जनता तो मरनी ही है। यह सब रुकना चाहिए।